मोसाद ने हामास नेता को समाप्त किया
हामास प्रमुख की मृत्यु: इज़राइल की खुफिया एजेंसी मोसाद ने तेहरान में हामास के राजनीतिक नेता इस्माइल हानिया के ठहरने की जगह पर विस्फोटक लगाने का काम ईरानी सुरक्षा एजेंटों को सौंपा था। रिपोर्टों के अनुसार, शुरू में मई में ईरान के पूर्व राष्ट्रपति इब्राहिम रायसी के अंतिम संस्कार के दौरान हानिया को मारने की योजना बनाई गई थी।
भीड़ के कारण ऑपरेशन रद्द: जानकारी के अनुसार, बड़ी संख्या में लोगों के इकट्ठा होने के कारण ऑपरेशन को रद्द कर दिया गया। सफलता की संभावना कम देखते हुए ऑपरेशन के समय में परिवर्तन किया गया। मोसाद के निर्देशों के अनुसार, दो एजेंटों ने उत्तरी तेहरान में इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड कॉर्प्स (IRGC) के गेस्टहाउस के तीन अलग-अलग कमरों में विस्फोटक उपकरण रखे। हानिया के वहां ठहरने की संभावना को देखते हुए यह निर्णय राजनीतिक स्तर पर लिया गया था।
विस्फोट में हानिया की मृत्यु: रिपोर्टों के अनुसार, ईरानी अधिकारियों के पास मौजूद निगरानी फुटेज में एजेंटों को गुप्त रूप से चलते हुए दिखाया गया। फुटेज में एजेंटों को कई कमरों में जाते और फिर बाहर आते हुए देखा गया। उपकरण लगाने के बाद एजेंट चुपचाप ईरान से बाहर चले गए, जबकि उनके सहयोगी देश के अंदर ही मौजूद रहे। 2 अगस्त को सुबह 2 बजे ऑपरेटिव द्वारा लगाए गए कमरों में विस्फोट होने से हानिया की मृत्यु हो गई।
IRGC अधिकारी की पुष्टि: एक IRGC अधिकारी ने हानिया की मृत्यु की पुष्टि की। मोसाद ने अंसार-अल-महदी की सुरक्षा के लिए एजेंटों को नियुक्त किया था। इन एजेंटों को देश के अंदर और बाहर नेताओं और अधिकारियों की सुरक्षा की जिम्मेदारी सौंपी गई थी। IRGC अधिकारी ने कहा, “ईरान के लिए यह शर्मनाक बात है और यह कहीं न कहीं सुरक्षा में चूक को दर्शाता है। इसे लेकर रणनीति बनाने के लिए एक विशेष समूह बनाया गया है।”
मोसाद कैसे काम करता है: मोसाद, 3 मिलियन डॉलर वार्षिक बजट और 7,000 कर्मचारियों के साथ, CIA के बाद पश्चिम की दूसरी सबसे बड़ी खुफिया एजेंसी है। इसमें कई विभाग हैं, लेकिन इसके आंतरिक ढांचे के बारे में बहुत कम जानकारी है। मोसाद का नेटवर्क केवल फिलिस्तीनी आतंकवादी समूहों में ही नहीं, बल्कि लेबनान, सीरिया और ईरान जैसे दुश्मन देशों में भी एजेंट तैनात करता है।
ईरान के नए राष्ट्रपति के शपथ ग्रहण समारोह में हानिया की मृत्यु: हामास प्रमुख इस्माइल हानिया 30 जुलाई को ईरान के नए राष्ट्रपति मसूद पेझेश्कियान के शपथ ग्रहण समारोह में गए थे। इस दौरान हानिया ने ईरान के सर्वोच्च नेता अयातुल्ला अली खामेनेई से मुलाकात की। अगले दिन हानिया जिस घर में ठहरे थे, वहां विस्फोट होने से उनकी मृत्यु हो गई।